विजय प्रताप को मनाने गए ललित नागर की कोशिश नाकाम, अब जिम्मेदारी आलाकमान की

Citymirrors.in-फरीदाबाद से लोकसभा प्रत्याशी ललित नागर ने रूठे हुओं को मनाने का सिलसिला शुरू कर दिया है। वीरवार को वो अपने दल-बल के साथ पूर्व कैबिनेट मंत्री चौ. महेन्द्र प्रताप के सुपुत्र विजय प्रताप को मनाने उनके निवास पर पहुंचे। जहां दोनों के बीच काफी कहासुनी हुई और पुराने गिले-शिकवे किए गए। इस दौरान ललित नागर ने विजय प्रताप को मनाने की हर संभव कोशिश की और फूट-फूटकर रोने तक का नाटक किया। ललित नागर ने अपनी सारी गलतियां मानी और उनको तहेदिल से स्वीकारा। इस दौरान विजय प्रताप ने अंतिम फैसला हाईकमान पर सौंप दिया और कहा कि हाईकमान से बात करने के बाद ही वो मंच सांझा कर सकते हैं।
कांग्रेसी नेता विजय प्रताप को मनाने पहुंचे ललित नागर अपना काम निकालने की बजाय प्रचार करने पर ज्यादा जोर देते हुए दिखाई दिए। वहां पर मौजूद मीडियाकर्मियों को विजय प्रताप ने यह कहकर कि यह उनकी निजी मीटिंग है और फोटो वगैरह न किया जाए, मना कर दिया। मगर ललित नागर ने अपनी चाल चलते हुए चुपके से फोटो कराई और खबर प्रकाशित करा दी कि उन्होंने विजय प्रताप को मनाया। जबकि सच्चाई इससे उलट है, विजय प्रताप ने उनके लाख मनाने के बावजूद उनके साथ मंच साझा करने से मना कर दिया और हाईकमान से बातचीत के बाद ही किसी निर्णय पर पहुंचने का आश्वासन दिया। ऐसे में ललित नागर की चाल उन पर उल्टी पड़ती दिखाई दे रही है, मनाने के चक्कर में उलटा बिगाडऩे का काम कर बैठे।
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