3 महीनों से ऊपर हो गए लेकिन एक नीलम पुल के मरम्मत का काम नहीं करवा पाया नगर निगम ।

लापरवाह नगर निगम प्रशासन पिछले 3 माह में नीलम पुल के 200 मीटर हिस्से की मरम्मत नहीं कर पाया है। जिसके कारण पूरे शहर को परेशानी का सामना कर पड़ रहा है। पुल की एक ही लेन से वाहनों का आवागमन हो रहा है। नीलम पुल का एक हिस्सा बंद होने से जहां बाटा पुल सहित अन्य सडक़ों पर दवाब बढ़ गया है। वर्ष 2020 में 22 अक्टूबर को नीलम पुल के नीचे कबाड़ में आग लग गई थी। जिसके कारण पुल के तीन पिलर क्षतिग्रस्त हो गए थे। पुल के पिलर क्षतिग्रस्त होने के बाद से ही एक साइड को बंद कर दिया गया था।
दो माह बाद नगर निगम ने काम किया शुरू
नगर निगम ने दो माह केवल पुल की मरम्मत के लिए ठेकेदार को खोजने में लगा दिए। नगर निगम अधिकारियों का तर्क था कि आग में पिलर के सरिए भी क्षतिग्रस्त हो गए थे। कई जगहों पर बारीक काम है। निगम की ओर से टेंडर खोला गया था, लेकिन कोई भी कंपनी पुल की मरम्मत को लेकर आगे नहीं आई। दो माह बाद दिल्ली की एक कंपनी को पुल की मरम्मत का काम दिया गया। इसके अलावा आईआईटी जयपुर को सलाहकार के तौर पर इस प्रोजेक्ट में जोड़ा गया। पुल को लेकर एजेंसी ने काम तो शुरू किया है। लेकिन अभी इसमें तय नहीं है कि कितना समय और लगेगा।
एनआईटी और नेशनल हाइवे को जोड़ता है पुल
एनआईटी की कालोनियों से नेशनल हाइवे होकर दिल्ली जाने वाले सुबह और शाम के समय इस पुल से आवागमन करते है। पुल पर रोजाना एक लाख से अधिक वाहन गुजरते हैं। अब पुल की एक साइड बंद होने से सुबह और शाम के समय जाम की स्थिति बनी रहती है। बड़े वाहनों के लिए पुल को बंद किया हुआ था। ऐसे में उन्हें बाटा पुल से होकर जाना पड़ता है।
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कोट्स
पुल की मरम्मत का काम चल रहा है। अभी यह बताना मुश्किल है कि दोनो साइड कितने दिन में शुरू हो पाएगी।
ओपी कर्दम, अधीक्षण अभियंता नगर निगम
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